पटना
नीतीश सरकार गांवों में संविदा पर डॉक्टरों की नियुक्ति करेगी। इसके लिए 2580 पदों के सृजन की मंजूरी राज्य कैबिनेट ने दी है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई कैबिनेट की बैठक में कुल 13 प्रस्तावों पर मंजूरी मिली। यह नियुक्ति राज्य के सरकारी चिकित्सा महाविद्यालयों से नव उत्तीर्ण एमबीबीएस अभ्यर्थियों के लिए होगी। इन अभ्यर्थियों के लिए नियुक्त होना अनिवार्य होगा। इन्हें प्रतिमाह 65 हजार मानदेय मिलेगा।
कोरोना संक्रमण से उत्पन्न संकट के बीच ग्रामीण क्षेत्रों में चिकित्सा सुविधाओं को और बेहतर बनाने के मकसद से यह निर्णय लिया गया है। स्वास्थ्य विभाग के इस प्रस्ताव को कैबिनेट की मुहर लग गई है। अब शीघ्र ही इनकी नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। ये डॉक्टर नियुक्त होने के बाद गांवों के मरीजों को अपनी सेवा देंगे। मालूम हो कि राज्य सरकार इन दिनों बड़े पैमाने पर डॉक्टरों की नियुक्ति पहले से ही कर रही है। इसी बीच और संविदा के 2580 फ्लोटिंग पदों को मंजूरी दी गई है।
नि:शुल्क टीकाकरण के लिए एक हजार करोड़
बिहार के निवासियों को कोरोना का नि:शुल्क टीकाकरण कराने के लिए एक हजार करोड़ रुपये की स्वीकृति राज्य कैबिनेट ने दी है। कोरोना का टीका राज्य सरकार की ओर से अपने संसाधन से सरकारी संस्थानों में नि:शुल्क कराने के निर्णय के आलोक में एक हजार करोड़ की स्वीकृति बिहार आकस्मिकता निधि से दी गई है, ताकि टीकाकरण में राशि की कोई कमी ना हो। गौरतलब हो कि राज्य सरकार ने 18 साल से अधिक और 45 साल उम्र तक के लोगों को अपने संसाधन से नि:शुल्क टीकाकरण कराने का निर्णय लिया है।