भोपाल,
गीत-संगीत के प्रति समर्पण से परिष्कृत आपका व्यक्तित्व शालीनता, सौम्यता व आत्मीयता की त्रिवेणी रहा, जो कला साधकों को अनंतकाल तक प्रेरित करता रहेगा। ईश्वर से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें। अपनी सुमधुर अमर आवाज से लता दीदी सदैव हम सभी के बीच रहेंगी।
उन्होंने कहा की, आपका जीवन हिंदी फिल्म जगत के साथ ही भारतीय संगीत की ऐसी अद्भुत यात्रा रही, जिसने कई पीढ़ियों को मानवीय संवेदनाओं को जीवंत करते गीत-संगीत से जोड़ा। फिल्म जगत के उद्भव से अत्याधुनिक युग में प्रवेश करने तक दीदी सहयोगी से संरक्षक तक की भूमिका में रहीं। आपका योगदान अविस्मरणीय रहेगा।
स्वर साम्राज्ञी, परम श्रद्धेय लता मंगेशकर जी के निधन से अन्तर्मन दुख, पीड़ा, शोक से व्यथित है। देश ही नहीं, समूचे विश्व ने एक ऐसी स्वर साधिका को खो दिया, जिन्होंने अपनी मधुर आवाज से जीवन में आनंद घोलने वाले असंख्य गीत दिए। लता दीदी का तपस्वी जीवन स्वर साधना का अप्रतिम अध्याय है।
स्वर कोकिला आदरणीय #लता_मंगेशकर जी नहीं रहीं। स्वर के महायुग का अंत हो गया। लता दीदी आपके बिना यह देश सूना है, गीत-संगीत सूने हैं, हर घर सूना है, ह्रदय घट सूना है। आपकी कमी कभी कोई पूरी नहीं कर सकता। गीत-संगीत की देवी मानकर आप की पूजा करते रहेंगे। लता दीदी के चरणों में प्रणाम।
स्वर कोकिला आदरणीय #लता_मंगेशकर जी नहीं रहीं। स्वर के महायुग का अंत हो गया। लता दीदी आपके बिना यह देश सूना है, गीत-संगीत सूने हैं, हर घर सूना है, ह्रदय घट सूना है। आपकी कमी कभी कोई पूरी नहीं कर सकता। गीत-संगीत की देवी मानकर आप की पूजा करते रहेंगे। लता दीदी के चरणों में प्रणाम। pic.twitter.com/P1PkVX1HJY
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) February 6, 2022