“रावण किसमें है नहीं, भले नहीं हो राम, कभी बैठकर सोचिये, आप सुबह या शाम”….वक्ता मंच की काव्य गोष्ठी संपन्न हुआ

रायपुर l सामाजिक व साहित्यिक संस्था वक्ता मंच की मासिक काव्य गोष्ठी आज शाम राजधानी के वृंदावन सभागृह में संपन्न हुईl इसमें रायपुर, राजिम, सारंगढ़, भाटापारा, बिलासपुर, दुर्ग, बेमेतरा से आये हुए 50 से अधिक कवियों ने काव्य पाठ किया l वक्ता मंच के अध्यक्ष राजेश पराते ने जानकारी दी है कि कार्यक्रम में बडी संख्या में उपस्थित श्रोताओं का सम्मान किया गया l कार्यक्रम की अध्यक्षता अंतर्राष्ट्रीय कवियित्री उर्मिला देवी ने की l सुनील पांडे, डॉ उमा स्वामी एवं डॉ गौरी अग्रवाल विशिष्ट अतिथि की आसंदी पर सुशोभित थे l काव्य संध्या का प्रभावी संचालन वक्ता मंच के संयोजक शुभम साहू द्वारा किया गया l प्रमुख प्रस्तुतियां इस प्रकार रही:-

राजेंद्र रायपुरी:-

रावण किसमें है नहीं, भले नहीं हो राम

कभी बैठकर सोचिये, आप सुबह या शाम

सुप्रिया शर्मा:-

न उलझे प्रतिशत के जाल में, परिणाम तो सिर्फ साधन मात्र है

जो प्रयत्नशील बनाता है, और बेहतर प्रयास के लिये

यशवंत यदु ” यश “:-

तपती दुपहरी मे जल रहे है लोग

पानी की तलाश मे मीलों चल रहे है लोग

मिनेश साहू:-

पीका झन फूटय कभू, मन म मोर अभिमान के

आशीष पावंव सब दिन दाई, छईंहा म रहव सियान के

नूपुर कुमार साहू:-

किरिया सोनहा धान के, दाई तोर मान के, मैं तोरेच गुन ल गांहूँ वो

या तो लिखहूँ मोर माटी बर, या खुद माटी हो जाहूँ वो

सविता राय:-

ये कैसा लोकतंत्र ,जिसमें कुछ भी नहीं समान, न शिक्षा न स्वास्थ्य ,न गरिमा न सम्मान,जाति धर्म में बंटा इंसान

काव्य गोष्ठी में विजय कुमार कोसले, असकरण दास जोगी, दास मनोहर, जी आर पारकर, चंद्रकांत गंधर्व, डी आर निर्मलकर, पी आर पठारी, सुरेंद्र रावल, यशवंत यदु ‘यश’, कुलदीप चंदेल, मन्नूलाल यदु, शिवानी मैत्रा, तेजपाल सोनी, सूर्यकांत प्रचंड, राजू छत्तीसगढिया, कमलेश साहू, नूपुर कुमार साहू, डॉ उदयभान सिंग चौहान, मिनेश कुमार साहू, निवेदिता वर्मा, तुलेश्वरी धुरंधर, भूपेंद्र शर्मा ‘भूप’, पुष्पा वर्मा, राजेंद्र रायपुरी, डॉ इंद्रदेव यदु, सुप्रिया शर्मा, रूनाली चक्रवर्ती, सविता राय, देवव्रत चक्रवर्ती, मोहम्मद हुसैन, आलिम नकवी, अनिल श्रीवास्तव ‘ज़ाहिद’, ईश्वर साहू ‘बंधी’, रिक्की बिंदास, जयंत साहू, देव मानिकपुरी, महिमा सेमुअल, ऋषभ देव साहू, बलराम चंद्राकर, सी एल दुबे, निलेश शुक्ला , कल्पेश कोटक, उर्मिला देवी , सुनील पांडे, डॉ गौरी अग्रवाल एवं डॉ उमा स्वामी ने जोरदार प्रस्तुतियों से संमा बांध दिया l “आज की शाम- कवियों के नाम” शीर्षक से संपन्न इस काव्य संध्या में हिंदी, उर्दू व छत्तीसगढ़ी भाषा में कविताएँ सुनने को मिली l वक्ता मंच के अध्यक्ष राजेश पराते द्वारा प्रस्तुत आभार प्रदर्शन के साथ कार्यक्रम संपन्न हुआ l

 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here