Dhanteras 2021: धनतेरस पर इन चीजों को खरीदने से घर सुख समृद्धि आने की है मान्यता, जानिए पूजा एवं खरीदारी का शुभ मुहूर्त

अध्यात्म,

 आज पूरे देश में धनतेरस का पर्व मनाया जा रहा है। इस दिन मुख्य तौर पर नई चीजों की खरीदारी की जाती है। मान्यता है इस दिन खरीदी गई वस्तुएं आने वाले समय में खूब लाभ देती हैं। इस दिन लोग माता लक्ष्मी, धन के देवता कुबेर और भगवान धन्वंतरि की पूजा करते हैं। जानिए घर में सुख समृद्धि के लिए इस दिन किन चीजों की खरीदारी करना माना जाता है शुभ और क्या रहेगा शुभ मुहूर्त।

धनतेरस पर क्या खरीदें? इस दिन कोई भी नई वस्तु खरीद सकते हैं। लेकिन मुख्य तौर पर धनतेरस पर सोने, चांदी और पीतल की चीजें खरीदना शुभ माना जाता है। इसके अलावा धनतेरस पर बर्तन और झाड़ू खरीदने की भी परंपरा है। कई लोग इस दिन नई कार, मोटर साइकिल और जमीन-मकान भी खरीदते हैं।

क्या न खरीदें? इस दिन काले रंग की वस्तुएं, तेल, लोहे, कांच और एल्युमीनियम से बनी चीजें खरीदने से बचना चाहिए। इसके अलावा इस दिन जो भी बर्तन खरीद रहे हैं उसे खाली घर में नहीं लेकर जाएं। नए बर्तन को घर में ले जाने से पहले उसके अंदर पानी भर लें।

खरीदारी और पूजा का शुभ मुहूर्त: धनतेरस पूजा का सबसे शुभ मुहूर्त शाम 06:17 बजे से रात 08:11 बजे तक रहेगा। इसके अलावा खरीदारी का शुभ मुहूर्त सुबह 11 बजकर 31 मिनट से शुरू हो रहा है। लेकिन दोपहर 2 बजकर 50 मिनट से 04 बजकर 12 मिनट के बीच खरीदारी करने से बचें। क्योंकि इस दौरान राहुकाल रहेगा। शाम को खरीदारी करने की सोच रहे हैं तो शाम 6 बजकर 17 मिनट से रात 8 बजकर 11 मिनट तक का समय खरीदारी के लिए बेहद शुभ रहेगा।

धनतेरस पूजा विधि: धनतेरस के दिन माता लक्ष्मी और भगवान धन्वंतरि की विधि विधान पूजा करें। घर के मुख्य द्वार पर दीपक जरूर जलाएं। जिसमें एक दीपक दक्षिण दिशा में यम के नाम से भी जलाएं। कहते हैं धनतेरस के दिन विधि विधान पूजा से घर में सुख-समृद्धि आती है।

धनतेरस के दिन इस मंत्र का जरूर करें जाप: ॐ ह्रीं ह्रीं ह्रीं महालक्ष्मी धनदा लक्ष्मी कुबेराय मम गृह स्थिरो ह्रीं ॐ नमः

धनतेरस पर क्या करते हैं?

1. धनतेरस पर धन्वंतरि देव की षोडशोपचार पूजा का विधान है।

2. धनतेरस पर पीतल और चांदी के बर्तन खरीदने की परंपरा है। मान्यता है कि बर्तन खरीदने से धन समृद्धि होती है।

3. इस दिन शाम के समय घर के मुख्य द्वार और आंगन में दीये जलाये जाते हैं।

4. धनतेरस के दिन शाम के समय यम देव के निमित्त दीपदान किया जाता है। मान्यता है कि ऐसा करने से मृत्यु के देवता यमराज के भय से मुक्ति मिलती है।

धनतेरस के दिन बन रहा है शुभ त्रिपुष्कर योग

त्रिपुष्कर योग द्वादश तिथि और मंगलवार के संयोग से बनता है। 02 नवंबर के दिन सुबह साढ़े ग्यारह बजे तक ‘त्रिपुष्कर योग’ का निर्माण हो रहा है। मान्यताओं के अनुसार इस योग में ख़रीदारी करने से संपत्ति में तीन गुना वृद्धि तो होती है, इसके साथ-साथ जातकों का भाग्योदय भी होता है।

धनतेरस पूजा 2021 शुभ मुहूर्त:

पूजा का मुहूर्त शाम 06:17 PM से शुरू होगा और इसकी समाप्ति रात 08:11 PM पर होगी। प्रदोष काल 05:35 PM से 08:11 PM तक रहेगा। त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 2 नवंबर को 11:31 AM से होगी और इसकी समाप्ति 3 नवंबर को 09:02 AM पर होगी।

 

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