डबल म्यूटेंट वेरिएंट पर भी कोविड का टीका बेहद असरदार -WHO

नई दिल्ली

 विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने दावा किया है कि भारत में सबसे अधिक घातक कोरोना वायरस के डबल म्यूटेंट वेरिएंट पर भी कोविड का टीका बेहद कारगर है. भारत में कोरोना वायरस के खिलाफ बनाया गया कोई भी टीका लोगों को संक्रमण के खतरे से सुरक्षा प्रदान करने में पूरी तरह सक्षम है. उसका यह भी दावा है कि देश में अभी तक एक भी ऐसा मामला सामने नहीं आया है कि टीका लगवाने के बाद कोई व्यक्ति गंभीर रूप से संक्रमण का शिकार हुआ हो.

विश्व स्वास्थ्य संगठन की मुख्य वैज्ञानिक डॉ सौम्या स्वामीनाथन ने कहा कि भारत में तबाही मचाने वाला कोरोना का डबल म्यूटेंट वायरस काफी संक्रामक है. यह लोगों में काफी तेजी से फैलता है, लेकिन यह वेरिएंट वैक्सीन प्रतिरोधी नहीं है. इसका मतलब यह हुआ कि कोरोना वायरस वैक्सीन इस वेरिएंट पर भी पूरी तरह कारगर है और यह लोगों को संक्रमण से बचाने में पूरी तरह से सक्षम है.

कोरोना के किसी भी वेरिएंट से बचने का एकमात्र उपाय है टीका

डॉ सौम्या ने आगे कहा कि भारत में अचानक से कोरोना विस्फोट के पीछे का कारण इसका नया वैरिएंट बी.1.617 वेरिएंट है, जो बहुत ही ज्यादा संक्रामक और घातक है. उन्होंने कहा कि इससे बचने का एकमात्र उपाय टीकाकरण ही है. उन्होंने कहा कि यह वैरिएंट इतना खतरनाक है कि यह शरीर में एंटीबॉडी के सृजन को पूरी तरह बाधित कर देता है और बहुत तेजी से अपना स्वरूप बदलता रहता है यानी तेजी से डबल म्यूटेंट हो जाता है.

अक्टूबर 2020 में पाया गया था कोरोना का डबल म्यूटेंट वेरिएंट

उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस का नया वैरिएंट बी.1.617 अक्टूबर 2020 के दौरान भारत में पाया गया था. यही वेरिएंट भारत में रोजाना लाखों लोगों को अपना शिकार बना रहा है. उन्होंने कहा कि बी.1.617 तेजी से म्यूटेंट भी कर रहा है जो लोगों के लिए घातक साबित हो रहा है. उन्होंने कहा कि लगातार हो रहे म्यूटेशन की वजह से कोरोना वायरस ज्यादा खतरनाक रुख अख्तियार करता जा रहा है.

 

भारत में तबाही मचा रहा वायरस का डबल म्यूटेंट

गौरतलब है कि भारत में भी पंजाब और गुजरात में संक्रमण के लिए मुख्य तौर पर ब्रिटिश वैरिएंट को जिम्मेदार माना जा रहा है, जबकि महाराष्ट्र में डबल म्यूटेंट वैरिएंट और दिल्ली में ब्रिटिश और डबल म्यूटेंट दोनों वेरिएंट देखे गए हैं. सरकार आधिकारिक रूप से भारत में तबाही मचाने के लिए दूसरी लहर को भले ही जिम्मेदार मानती हो, लेकिन विश्व स्वास्थ्य संगठन की मुख्य वैज्ञानिक सौम्या स्वामीनाथन डबल म्यूटेंट वैरिएंट को प्रमुख कारण मानती हैं.

मौत के लिए लोगों की लापरवाही जिम्मेदार

स्वामीनाथन ने कहा कि भारत में संक्रमण के बढ़ते मामले और मौत के लिए सिर्फ कोरोना के नए वेरिएंट को ही जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है, बल्कि इसके लिए लोगों की लापरवाही भी जिम्मेदार है. लोगों ने शारीरिक दूरी का ख्याल नहीं रखा. वहीं, मास्क पहनना भी छोड़ दिया. स्वामीनाथन ने कहा कि पर्याप्त लोगों की वैक्सीन लगाए जाने तक हमें डटकर कोरोना वायरस की दूसरी लहर का सामना करना होगा.

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