रायपुर: Grouped Wedding Ceremony: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद के द्वारा आयोजित दिव्यागजन सामूहिक विवाह समारोह में 31 दिव्यांग जोड़ों को आशीर्वाद प्रदान किया। उन्होंने सभी नवविवाहित जोड़ों के सुखी वैवाहिक जीवन की मंगलकामना करते हुए कहा कि यह आयोजन सामाजिक समरसता और दिव्यांगजनों के उत्थान का उत्कृष्ट उदाहरण है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि स्वामी विवेकानंद ने कहा था कि नर सेवा ही नारायण सेवा है। यह आयोजन भी देवतुल्य दिव्यांगजनों की सेवा का उत्कृष्ट उदाहरण है। उन्होंने परिषद द्वारा विगत अनेक वर्षों से इस आयोजन को सफलतापूर्वक संचालित करने की सराहना की और इसे समाज में सकारात्मक बदलाव लाने वाली पहल बताया।
Grouped Wedding Ceremony: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने दिव्यांगजनों के सामूहिक विवाह आयोजन को समाज में समावेशिता और समानता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि दिव्यांगजनों की सेवा केवल एक सामाजिक दायित्व नहीं, बल्कि यह सबसे बड़ा पुण्य का कार्य है। उन्होंने कहा कि यह आयोजन न केवल 31 नवविवाहित दिव्यांग जोड़ों के लिए नई शुरुआत का प्रतीक है, बल्कि यह समाज को दिव्यांगजनों के प्रति संवेदनशीलता और सहयोग की प्रेरणा भी देता है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना चलाई जा रही है, जिसके अंतर्गत प्रत्येक जोड़े को 50,000 रुपये की सहायता दी जाती है। यदि पति-पत्नी दोनों दिव्यांग हैं, तो दिव्यांग विवाह प्रोत्साहन योजना के तहत उन्हें एक लाख रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। उन्होंने कहा कि सरकार समाज के कमजोर वर्गों, विशेष रूप से दिव्यांगजनों के सशक्तिकरण के लिए प्रतिबद्ध है।
Grouped Wedding Ceremony: महिलाओं के सशक्तिकरण पर विशेष जोर
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने इस अवसर पर राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी महतारी वंदन योजना का जिक्र करते हुए कहा कि प्रदेश की लगभग 70 लाख महिलाओं को प्रतिमाह 1,000 रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जा रही है। अब तक इस योजना की 12 किश्तें जारी की जा चुकी हैं, जिससे प्रदेश की माताओं और बहनों को आर्थिक संबल मिला है।
Grouped Wedding Ceremony: उन्होंने कहा कि बेटियां समाज का आधार स्तंभ हैं। वे न केवल परिवार को जोड़ती हैं, बल्कि संस्कारों की वाहक भी होती हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ योजना ने एक दशक पूरा कर लिया है, जिससे बालिकाओं के सशक्तिकरण में अभूतपूर्व सफलता मिली है।
Grouped Wedding Ceremony: सामूहिक विवाह: सामाजिक समरसता की मिसाल
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि सामूहिक विवाह अब सामाजिक परंपरा का हिस्सा बन गए हैं और इससे समाज में जागरूकता बढ़ रही है। उन्होंने इस आयोजन में कान्य कुब्ज ब्राह्मण समाज, मारवाड़ी युवा मंच, सीनियर सिटीजन वेलफेयर फोरम जैसी विभिन्न सामाजिक संस्थाओं के योगदान की सराहना की और कहा कि ऐसे आयोजन समाज में एकजुटता और सहयोग की भावना को बढ़ावा देते हैं।
Grouped Wedding Ceremony: मानवता की सेवा ही सबसे बड़ा धर्म
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि मानवता की सेवा ही सबसे बड़ा धर्म है और निःशक्तजनों की सेवा करना एक सौभाग्य की बात है। उन्होंने सभी स्वयंसेवी संगठनों को इस तरह के सामाजिक समरसता बढ़ाने वाले आयोजनों के लिए प्रेरित किया और आयोजन समिति को भव्य और प्रेरणादायक कार्यक्रम के लिए बधाई दी।
Grouped Wedding Ceremony: नवविवाहित जोड़ों को मुख्यमंत्री का आशीर्वाद
मुख्यमंत्री साय ने सभी नवविवाहित जोड़ों को आशीर्वाद देते हुए कहा, “आपका दांपत्य जीवन सुखमय रहे, आप प्रेम और विश्वास के साथ आगे बढ़ें। मैं सभी नवविवाहित जोड़ों को बहुत-बहुत शुभकामनाएं देता हूं।”
विशेष आकर्षण: दिव्यांग बच्चों की सांस्कृतिक प्रस्तुति
इस अवसर पर ‘कोपलवाणी’ के मूक-बधिर दिव्यांग बच्चों ने छत्तीसगढ़ी गीतों पर सांस्कृतिक नृत्य प्रस्तुत किया। उनकी प्रतिभा ने सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया। मुख्यमंत्री साय एवं उपस्थित अतिथियों ने बच्चों की कला की सराहना करते हुए उन्हें प्रोत्साहित किया।
Grouped Wedding Ceremony: मुख्यमंत्री साय ने अखिल भारतीय विकलांग चेतना परिषद के कार्यों की सराहना की और कहा कि सरकार दिव्यांगजनों के पुनर्वास, चिकित्सा और आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के लिए निरंतर प्रयासरत रहेगी।
इस अवसर पर परिषद के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. विनय पाठक ने नवविवाहित जोड़ों को आशीर्वाद दिया और कहा कि जनसहयोग से दिव्यांगजनों के सशक्तिकरण की दिशा में परिषद लगातार कार्य कर रही है।