आरी तुतारी : फेस्टिव सीजन: खुशियों की चाशनी में मिलावट का कड़वा घूंट

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Aari Tutari Now
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आरी तुतारी ;2 अगस्त । Aari Tutari Now : फेस्टिव सीजन ढेर सारी खुशियाँ और मिठाइयों की मिठास साथ लाता है, लेकिन इस मिठास के पीछे एक स्याह सच्चाई भी छिपी होती है—यह है मिलावटखोरी की सुनियोजित साजिश रक्षा बंधन, ईद और दिवाली जैसे पवित्र त्योहारों में मिलावटी मिठाइयों और खाद्य पदार्थों का बोलबाला बढ़ जाता है।

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बाजारों में मिलावटखोरी की बाढ़

क्योंकि इस समय बाजार में खोया, पनीर और मिठाइयों की मांग बड़ जाती है,तभी सक्रिय हो उठते हैं खाद्य अपराध के सौदागर। हालात ऐसे हैं कि बाजार में मिलने वाली लगभग हर चीज :- दूध, पनीर, घी, मेवा और मिठाइयां, शक के घेरे में हैं। यह स्थिति ऐसी है रक्षा बंधन,ईद,दीवाली जैसे पर्व से पहले बाजारों में मिलावटखोरी की बाढ़ आ जाती है। यह सिर्फ एक व्यापारिक अपराध नहीं है, बल्कि त्याग, स्नेह और पवित्रता से भरे पर्वों की मिठास में जहर घोलने जैसा है। तो यह सिर्फ अपराध नहीं,ऐसे में आस्था और जीवन मूल्यों के साथ किया गया विश्वासघात है, जिसका दंड मिलना बेहद जरूरी है। 

त्योहारों की रौनक में मुनाफाखोरों की अपवित्र छाया

Aari Tutari Now : फिलहाल, चारों ओर त्योहारों की रौनक बिखरी है। रक्षाबंधन, जन्माष्टमी, गणेश चतुर्थी और फिर दशहरा, दीपावली जैसे पवित्र पर्वों की श्रृंखला पूरे देश में खुशियों का संचार करती है। लेकिन इस पवित्र श्रृंखला के बीच एक स्याह सच्चाई भी अपना जाल बिछा रही है — यह है मुनाफाखोरों की अपवित्र छाया।

देश के हर कोने में मिलावटखोर सक्रिय

Aari Tutari Now : उत्तर से दक्षिण और पूरब से पश्चिम तक, देश के हर कोने में मिलावटखोर सक्रिय हैं। त्योहारों के दौरान मिठाइयों और अन्य खाद्य पदार्थों की मांग बढ़ने का फायदा उठाकर, ये लोग लोगों की सेहत से खिलवाड़ कर रहे हैं। मिलावट के इस काले कारोबार का सबसे बड़ा कारण है प्रशासनिक पकड़ का ढीला होना। नियमों की कमी नहीं है, लेकिन उनके सख्त क्रियान्वयन का अभाव इस समस्या को और गंभीर बना देता है।

छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर, न्यायधानी बिलासपुर, संस्कारधानी राजनादगांव,अंबिकापुर, धमतरी, मुंगेली और मुख्यमंत्री व वित्त मंत्री के गृह जिलों में भी हर चीज में मिलावट का जाल बिछ चुका है, जो इस बात का प्रमाण है कि यह समस्या कितनी गहरी है। नकली घी, नकली खोवा,पनीर और मिठाइयां मिलीं। यह सच है कि प्रदेश का खाद्य सिस्टम चौकस दिखने की कोशिश कर रहा है, लेकिन ज़मीनी हकीकत यह है कि बाजार मिलावट के अंधेरे से भर चुका है।

बूंदी लड्डू और जलेबी निम्न गुणवत्ता की पाई गईं 

Aari Tutari Now : हाल ही में बलौदाबाजार जिले के खाद्य एवं औषधि प्रशासन की टीम ने बलौदाबाजार विकासखंड के ग्राम अर्जुनी में स्थित 8 प्रतिष्ठानों का औचक निरीक्षण किया।

खाद्य सुरक्षा अधिकारी उमेश वर्मा ने बताया कि इस जांच के दौरान कुल 45 खाद्य नमूने लिए गए। निरीक्षण में एक प्रतिष्ठान में विक्रय के लिए रखी गई बूंदी लड्डू और जलेबी निम्न गुणवत्ता की पाई गईं। इस पर टीम ने तुरंत कार्रवाई करते हुए लगभग 4 किलोग्राम जलेबी और 3 किलोग्राम बूंदी लड्डू को मौके पर ही नष्ट कर दिया।

Aari Tutari Now : राजधानी में दूध के नाम पर बड़ा खेल

छत्तीसगढ़ के रायपुर प्रदेश की राजधानी में दूध के नाम पर बड़ा खेल चल रहा है। खुला दूध बेचने वाले मिलावट कर रहे हैं। दूध के मिलावट पर कोई कंट्रोल नहीं है और न ही प्रशासन कोई सिस्टम बना पाया है। खुले दूध की गुणवत्ता की जांच करने की फुर्सत भी सरकारी एजेंसियों के पास नहीं है।

इसी के चलते खुले दूध में जमकर मिलावट होती है। अधिक कीमत में मिलावटी दूध लेने के लिए लोग मजबूर हो गए हैं।

दूध, पनीर, खोया और मेवा जैसी रोजमर्रा की चीजें भी मिलावट के दायरे में आ चुकी हैं। सस्ते और हानिकारक पदार्थों का इस्तेमाल करके बनाई गई ये मिलावटी वस्तुएं न सिर्फ हमारे स्वास्थ्य के लिए खतरनाक हैं, बल्कि यह त्योहारों की पवित्रता और विश्वास पर भी एक गहरा आघात है।

Aari Tutari Now : पूरे दाम देकर आधा जहर खरीद रहे हैं

यह कोई नई समस्या नहीं है, लेकिन अब इसका पैमाना और दुस्साहस दोनों ही खतरनाक हद तक बढ़ चुके हैं। देशभर में चल रहे इस जहरीले कारोबार ने लोगों की सेहत और जान को खतरे में डाल दिया है। आलम यह है कि लोग पूरे दाम देकर आधा जहर खरीद रहे हैं, जिससे सिर्फ उनकी जेब ही नहीं कट रही, बल्कि जान भी जा रही है।

Aari Tutari Now : मिलावट का जाल सिर्फ कुछ चीजों तक सीमित नहीं

आजकल मिलावट का जाल सिर्फ कुछ चीजों तक सीमित नहीं है, बल्कि मिठाई से लेकर मसाले, दूध, दही, तेल, फल, सब्जियां, और पेय पदार्थ तक, हर चीज में मिलावट का जाल बिछ चुका है। इसका सीधा नतीजा है बीमारियां, अस्पताल और अफसोस।

Aari Tutari Now : जहरीला व्यापार धड़ल्ले से चल रहा

देशभर में जहरीला व्यापार धड़ल्ले से चल रहा है। हालात ये हैं कि इस मिलावटखोरी के कारण सिर्फ आम आदमी की जेब ही नहीं कट रही, बल्कि उसकी जान भी जा रही है। मिलावट का यह जाल अब खतरनाक हद तक फैल चुका है और कोई भी क्षेत्र इससे अछूता नहीं है।

Aari Tutari Now : उत्तर प्रदेश में 400 क्विंटल नकली खोवा

अकेले उत्तर प्रदेश में पिछले एक सप्ताह में ही 12 जिलों से 400 क्विंटल नकली खोवा और पनीर पकड़ा गया। मध्य प्रदेश के प्रमुख शहरों जैसे इंदौर, भोपाल और जबलपुर में तो बड़े ब्रांडेड स्टोर्स तक में नकली घी और मिठाइयां मिली हैं, जिसने ग्राहकों के भरोसे को गहरा आघात पहुंचाया है।

दिल्ली-एनसीआर में फुटपाथ से लेकर नामी स्वीट हाउस 

Aari Tutari Now : देशभर में हुई हालिया कार्रवाई इस बात का सबूत है। दिल्ली-एनसीआर में फुटपाथ से लेकर नामी स्वीट हाउस तक नकली खोवा और रंग वाली बर्फी जब्त की गई। राजस्थान में भी जोधपुर, अजमेर और कोटा में नकली मावे के साथ-साथ सिंथेटिक दूध की बड़ी फैक्ट्रियां पकड़ी गईं।

Aari Tutari Now : वहीं, बिहार और झारखंड के सीमावर्ती क्षेत्रों से उत्तर भारत में मिलावटी सामग्री की सबसे बड़ी आपूर्ति हो रही है, जिससे यह समस्या और भी गंभीर हो गई है। कानपुर, प्रयागराज, वाराणसी, मेरठ, कुशीनगर, गोरखपुर, महाराजगंज, सहित पूरे यूपी और बिहार, हरियाणा आदि राज्यों में धड़ल्ले से महामिलाट का कारोबार चल रहा है।

ऐसे में बड़ा सवाल तो यही है: आखिर कब तक आम नागरिक की थाली में बीमारी परोसी जाती रहेगी? कब तक त्योहारों के नाम पर ज़हर बिकता रहेगा?

Aari Tutari Now : बाजार में बढ़ती मिलावटखोरी की समस्या

बाजार में बढ़ती मिलावटखोरी की समस्या अब केवल गुणवत्ता का सवाल नहीं रही, बल्कि यह सीधे-सीधे उपभोक्ता के साथ धोखा और एक गंभीर अपराध बन चुकी है। मुनाफा कमाने के लालच में, मिलावटखोर लोगों की सेहत से खिलवाड़ कर रहे हैं और उनके भरोसे को तोड़ रहे हैं। मिलावट का जाल केवल पनीर तक ही सीमित नहीं है, बल्कि मेवा, बेसन, खोया और रंग-बिरंगी मिठाइयों जैसे जरूरी सामानों में भी मिलावट की जा रही है। रंगीन मिठाइयों में प्रतिबंधित सिंथेटिक रंगों का इस्तेमाल हो रहा है।

Aari Tutari Now : किडनी-लिवर को नुकसान, गंभीर बीमारियों का खतरा 

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि इस नकली पनीर से पेट की बीमारियां, त्वचा संबंधी एलर्जी, उल्टी-दस्त, और किडनी-लिवर को नुकसान पहुंच सकता है। “यह धीमा जहर है जो शरीर को अंदर से खोखला कर देता है । ”
इनसे कैंसर और लिवर डिजीज़ जैसी गंभीर बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है।

Aari Tutari Now : शासन-प्रशासन सख्ती से मिलावटखोरों के विरुद्ध कार्रवाई करे

इस गंभीर समस्या से निपटने के लिए जरूरी है कि शासन-प्रशासन सख्ती से मिलावटखोरों के विरुद्ध कार्रवाई करे। हमें एकजुट होकर सवाल उठाना होगा; कहां है वह शुद्धता जिसकी गारंटी देने का दावा किया जाता है? क्या हर छापेमारी के बाद सिर्फ रिपोर्ट ही मिलेगी या कभी दोषियों को सख्त सजा भी होगी?

इसके साथ ही जनता का भी सजग होना जरूरी है। हमें अपने और अपने परिवार के स्वास्थ्य को सुनिश्चित करने के लिए शुद्धता की जांच खुद करनी होगी।

यह समय है कि सरकार और प्रशासन सख्त कदम उठाएं और जनता भी सजग होकर अपने भोजन की शुद्धता सुनिश्चित करे। सिर्फ कानून बनाने से नहीं, बल्कि उन्हें सख्ती से लागू करने से ही इस समस्या का समाधान संभव है।


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