Amarnath Cloudburst: अमरनाथ गुफ़ा बादल फ़टने से 5 श्रद्धालुओं की मौत, सेना के साथ-साथ कई एजेंसियां राहत बचाव कार्य में जुटीं

अमरनाथ यात्रा
जम्मू-कश्मीर,

अमरनाथ गुफा के पास बादल फटने की खबर सामने आ रही है, यह हादसा साढ़े 5 बजे हुआ। हादसे के वक्त घटनास्थल पर 14-15 श्रद्धालु मौजूद थे। स्थानीय लोगों के अनुसार अब तक 5 लोगों की मौत हो चुकी है। जम्मू-कश्मीर पुलिस के IG विजय कुमार ने 2 लोगों के मारे जाने की पुष्टि की है। 5 श्रद्धालुओं के शव भी बरामद कर लिए गए हैं। जिनमें 3 महिलाएं और 2 पुरूष शामिल हैं। सैलाब की वजह से गुफा के पास श्रद्धालुओं द्वारा लगाए गए लगभग 25 टेंट और 2-3 लंगर पानी में बह गए। मौके पर राहत और बचाव कार्य जारी है।

सेना के साथ-साथ कई एजेंसियां भी राहत बचाव कार्य में जुटीं

गुफा के पास जैसे ही हादसा हुआ सेना ने तुरंत मोर्चा संभाला। जिसके बाद ITBP, CRPF, NDRF, SDRF की टीमों ने लोगों का रेस्क्यू करना शुरु कर दिया। घायलों को तुरंत एयरलिफ्ट कर के अस्पताल पहुंचाया गया।

एक हफ्ते पहले ही शुरु हुई थी यात्रा

हर रोज करीब 15 हजार श्रद्धालु बाबा के दर्शन के लिए पवित्र गुफा पहुंच रहे हैं। एक हफ्ते पहले ही 30 जून को अमरनाथ यात्रा शुरू हुई है और एक हफ्ते में ही कई बार खराब मौसम की वजह से यात्रा को रोकना पड़ा है। जब यह घटना हुई तब मौके पर करीब 12 हजार यात्री मौजूद थे। अमरनाथ गुफा से करीब 2 किलोमीटर दूर यह घटना हुई है। न्यूज एजेंसी ANI से मिली जानकारी के मुताबिक अमरनाथ की गुफा के नीचे शाम साढ़े 5 बजे के करीब बादल फटा। इस घटना के बाद अमरनाथ यात्रा को रोक दिया गया है।

अमरनाथ यात्रा को पहलगाम और बालटाल दोनों रूट से रोक दिया गया था

आपको बता दें कि 2 दिन पहले ही जम्मू-कश्मीर में खराब मौसम के बीच अमरनाथ यात्रा को पहलगाम और बालटाल दोनों रूट से रोक दिया गया था। मंगलवार को यात्री आधार शिविरों से आगे नहीं बढ़ने दिए गए थे। भारी भूस्खलन से श्रीनगर-लेह नेशनल हाईवे मंगलवार को घंटों प्रभावित रहा था। जम्मू संभाग को कश्मीर से जोड़ने वाले सिंथन टॉप क्षेत्र में तड़के बादल फटने से सिंथन नाला उफान पर आ गया था। मानसून सक्रिय होने से प्रदेश के कई हिस्सों में बारिश हो रही है। मौसम विज्ञान केंद्र श्रीनगर ने बुधवार को तेज बारिश से बाढ़ की चेतावनी जारी की थी।

अमरनाथ यात्रा से जुड़ी बड़ी खबर सामने आ रही है। अमरनाथ गुफा के पास बादल फटने की खबर है। सूत्रों के मुताबिक दस श्रद्धालुओं की मौत हुई है। 3 महिला और 2 पुरुष श्रद्धालुओं के शव बरामद किए गए हैं। श्रद्धालुओं के कई टेंट मलबे की चपेट में आए हैं। मौके पर राहत और बचाव कार्य जारी है। आपको बता दें हर रोज करीब 15 हजार श्रद्धालु बाबा के दर्शन के लिए पवित्र गुफा पहुंच रहे हैं। एक हफ्ते पहले ही 30 जून को अमरनाथ यात्रा शुरू हुई है और एक हफ्ते में ही कई बार खराब मौसम की वजह से यात्रा को रोकना पड़ा है।

घटना के दौरान तीन लंगर बह चुके हैं। हर लंगर में करीब 15 से 20 लोग थे। करीब 15 से 20 टेंट भी बह गए हैं, हर टेंट में कम से कम 2 से 3 लोग थे यानी कम से कम चालीस से पचास लोग टेंट के अंदर थे और इतने ही लोग टेंट के अंदर लंगर खा रहे थे। अभी भी बहुत सारे लोग लापता हैं।

घटना के वक्त मौके पर मौजूद थे करीब 12 हजार यात्री
आपको बता दें कि जब यह घटना हुई तब मौके पर करीब 12 हजार यात्री मौजूद थे। अमरनाथ गुफा से करीब 2 किलोमीटर दूर यह घटना हुई है। न्यूज एजेंसी ANI से मिली जानकारी के मुताबिक अमरनाथ की गुफा के नीचे शाम साढ़े 5 बजे के करीब बादल फटा। मौके पर NDRF, SDRF और तमाम संबंधित एजेंसियां राहत और बचाव कार्य में जुट गई हैं। इस घटना के बाद अमरनाथ यात्रा को रोक दिया गया है।

अमरनाथ यात्रा को पहलगाम और बालटाल दोनों रूट से रोक दिया गया था
वहीं, आपको बता दें कि 2 दिन पहले ही जम्मू-कश्मीर में खराब मौसम के बीच अमरनाथ यात्रा को पहलगाम और बालटाल दोनों रूट से रोक दिया गया था। मंगलवार को यात्री आधार शिविरों से आगे नहीं बढ़ने दिए गए थे। भारी भूस्खलन से श्रीनगर-लेह नेशनल हाईवे मंगलवार को घंटों प्रभावित रहा था। जम्मू संभाग को कश्मीर से जोड़ने वाले सिंथन टॉप क्षेत्र में तड़के बादल फटने से सिंथन नाला उफान पर आ गया था। मानसून सक्रिय होने से प्रदेश के कई हिस्सों में बारिश हो रही है। मौसम विज्ञान केंद्र श्रीनगर ने बुधवार को तेज बारिश से बाढ़ की चेतावनी जारी की थी।

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