रायपुर, हिंद मित्र, डेस्क / दैनिक श्रमिक मोर्चा छत्तीसगढ़ ने श्रम दर वेतन, श्रम सम्मान को ई कोष से सयुक्त रूप से प्रदान करने की मांग लेकर राज्यपाल, मुख्यमंत्री, मंत्रिमंडल, विपक्ष सहित सभी को ज्ञापन पत्र सौपा । यह ज्ञापन वर्तमान में पृथक पृथक दिए जा रहे मासिक श्रम दर वेतनमान और श्रम सम्मान को लेकर दिया गया है। इन दोनों राशि को संयुक्त रूप से ई कोष पोर्टल से ई कुबेर वेतन के रूप में देने की मांग रखी गई है।
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विदित हो कि स्थाईकरण के लिए मध्य प्रदेश की सरकार ने 2016 मे दिए जा रहे श्रम वेतन में 4 हजार रु श्रेणी वार बढा कर, काल्पनिक वेतनमान घोषित करते हुए, अपने राज्य के 48 हजार श्रमिकों, जो बिना नियुक्ति पत्र वाले थे सभी को स्थाई किया था। छत्तीसगढ़ में बहुत से पात्र श्रमिक जिन्हें श्रम सम्मान राशि की पात्रता है बावजूद उसके विभागों द्वारा बजट का अभाव बताकर अथवा जिन विभागों में पर्याप्त बजट है वहा, वित्त विभाग के श्रम सम्मान प्रदान के लिए बनाये गए नीति नियम के विरुद्ध कल्पनिक, मनगढ़त नियम बना कर श्रम सम्मान जान बूझकर प्रदान नही किया जा रहा है।

ज्ञापन में ऐसे पात्र श्रमिकों को श्रम सम्मान प्रदान करते हुए अपने मांग में शामिल करने का अनुरोध मोर्चा ने किया है। संयुक्त रूप से श्रम सम्मान को वेतन का हिस्सा बनाकर प्रदान करने पर सरकार को होने वाली सुविधाओं को विस्तार से बताया गया है, जिसमे ईपीएफ ईएसआईसी का सरकारी विभाग में कार्यरत बिना नियुक्ति पत्र वाले श्रमदर वेतन विभाग से सीधे प्राप्त करने वाले कर्मचारियों का भार सरकार पर नही पड़ने की बात कही गई है।
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बैक डोर एंट्री में अनावश्यक मनमानी भर्ती पर रोक इससे लगने का तर्क दिया गया है,भविष्य में काल्पनिक वेतनमान बनाने में सहायता मिलने और प्रत्येक 5 वर्ष में दिए जाने वाले न्यूनतम मजदूरी के भार से मुक्ति का कथन भी कहा गया है।

केंद्र सरकार की पारदर्शिता और भ्रष्टाचार मुक्त सरकार के उद्द्देश्य से लाई गई। ई कुबेर योजना को लागू करने में मदद मिलेगी। ज्ञापन हेतु मोर्चा के रियाज खान, सजंय चंद्रा, कुलदीप नामदेव, पंकज पांडे, विक्की दास, नीरज गायकवाड़, आकाश सिन्हा प्रदेश से अजय त्रिपाठी, पंकज पांडे, दिव्या सिंह, आकाश दीप राठौर, सत्यम शुक्ला उपस्थित रहे ।
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