रायपुर। प्रदेशभर में विद्युत की निर्बाध आपूर्ति, सहज एवं सस्ती उपलब्धता हेतु तेजी से प्रयास किया जा रहा है। इस दिशा में छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत पारेषण कंपनी द्वारा 132 केवी की नई पारेषण लाइन को उजीर्कृत किया गया। इसकी लागत लगभग 14 करोड़ रुपए है। इससे प्रदेश की पारेषण क्षमता बढ़कर 12 हजार 888 सर्किट किलोमीटर हो गई है। छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत पारेषण कंपनी के प्रबंध निदेशक श्री संजय दत्तात्रय तेलंग द्वारा 132 के.व्ही. डी.सी.डी.एस. ठेलकाडीह-डोंगरगढ़ पारेषण लीलो लाईन (19.5 कि.मी.) को ऊजीर्कृत करने के साथ ही क्षेत्र के 15 से अधिक ग्रामों को गुणवत्तापूर्ण निर्बाध बिजली की आपूर्ति हो सकेगी। इंदामारा में नवनिर्मित 132/33 केवी उपकेंद्र हेतु इस लीलो लाइन का विस्तार किया गया है।
प्रबंध निदेशक का पदभार ग्रहण करने के बाद श्री तेलंग ने राजनांदगांव क्षेत्र के इन्दामारा पारेषण उपकेन्द्र का निरीक्षण भी किया। यह उपकेंद्र 16 करोड़ की लागत से बनाई जा रही है। श्री तेलंग ने इसे अतिशीघ्र पूरा करने के निर्देश भी दिए। इस अवसर पर उन्होंने बताया कि राज्य शासन की मंशा अनुसार पॉवर कंपनी ऊर्जा क्षेत्र में मजबूती के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है। विद्युत आपूर्ति निर्बाध रूप से जारी रखने के लिए पारेषण लाईन का विस्तार और उपकेन्द्रों का उन्नयन पॉवर ट्रांसमिशन कंपनी की पहली प्राथमिकता है। उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ स्टेट पॉवर ट्रांसमिशन कंपनी ने अतिउच्चदाब उपकेन्द्रों तथा लाईनों के विस्तार पर जोर देते हुए इसे काफी मजबूती प्रदान की है। वर्तमान में 123 अतिउच्चदाब उपकेन्द्र कार्यरत हैं।
तेलंग ने बताया कि इन्दामारा उपकेन्द्र के शुरू होने से राजनांदगांव तहसील के भानपुरी एवं रीवागहन, डोंगरगांव तहसील के जंगलपुर, बनभेड़ी, बनहरदी, आलीखुटा, बाकल, खपरीकला, हरदी एवं कन्हारडबरी तथा डोंगरगढ़ तहसील के सलटिकरी, सहसपुर, कसारी एवं रूवांतला ग्रामों के निवासी सीधे तौर पर लाभान्वित होंगे। साथ ही अन्य उपकेन्द्रों पर भार कम होने से संबंधित क्षेत्रों को भी निर्बाध बिजली आपूर्ति हो सकेगी। उन्होंने वर्तमान में कोरोना महामारी के दौरान विषम परिस्थिति में भी लाईन निर्माण कार्य तेजी से पूर्ण किये जाने तथा उपकेन्द्र को ऊजीर्कृत किये जाने पर संबंधित अधिकारियों एवं कर्मचारियों को बधाई दी।