बाड़ियों में सब्जी उत्पादन से पोषण के साथ अतिरिक्त आमदनी भी: डॉ. चंदेल

रायपुर, 

इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के सब्जी विज्ञान विभाग द्वारा आज यहां अखिल भारतीय समन्वित सब्जी अनुसंधान परियोजना के अंतर्गत कृषक प्रशिक्षण एवं सब्जी बीज वितरण कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. गिरीश चंदेल थे। इस कार्यक्रम में उत्तर बस्तर कांकेर जिले के 50 कृषकों को भिंड़ी, बरबट्टी, मटर तथा धनिया के बीज बैंगन, टमाटर तथा मुनगा के पौधे और शकरकंद की कलमें प्रदान की गई। इन किसानों को राइजोबियम कल्चर तथा जैविक खाद किट भी उपलब्ध कराई गई। इसके साथ ही उन्हें विभिन्न सब्जी सफलों के उत्पादन की तकनीक तथा उनके कीटों तथा व्याधियों से बचाव हेतु मार्गदर्शन भी दिया गया।

कृषकों को संबोधित करते हुए डॉ. चंदेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ के गांवों में आज भी बाड़ियों में सब्जियां उगाने की परंपरा है। बाड़ियों में सब्जी उत्पादन से जहां किसान परिवारों को ताजी और पौष्टिक सब्जियां प्राप्त होती है वहीं इनके विक्रय से अतिरिक्त आमदनी भी प्राप्त होती है। उन्होंने कहा कि अखिल भारतीय समन्वित सब्जी अनुसंधान परियोजना के तहत कृषक परिवारांे का विभिन्न सब्जी फसलों के उन्नत बीज तथा पौधे वितरित किया जाना एक सराहनीय प्रयास है। उन्होंने इसक लिए सब्जी विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. नीरज शुक्ला, प्रमुख अनवेषक डॉ. धनंजय शर्मा तथा अन्य वैज्ञानिकों को बधाई एवं शुभकामनाएं दी। इस अवसर पर कृषि महाविद्यालय, रायपुर के प्रभारी अधिष्ठाता डॉ. के. टेडिया, फसल विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. प्रभाकर सिंह, डॉ. सी.पी. खरे, डॉ. जितेन्द्र त्रिवेदी, डॉ. प्रवीण शर्मा, डॉ. गजेन्द्र चन्द्राकर, डॉ. अनु वर्मा सहित अनेक कृषि वैज्ञानिक उपस्थित थे।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here